नई दिल्ली। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने सोमवार को केंद्र सरकार पर हिंदुस्तान को अभिमन्यु की तरह चक्रव्यूह में फंसाने का आरोप लगाया और कहा कि विपक्षी गठबंधन इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (इंडिया) इस चक्रव्यूह को तोड़ेगा। उन्होंने लोकसभा में केंद्रीय बजट पर चर्चा में भाग लेते हुए यह दावा भी किया कि इस बजट में चंद पूंजीपतियों के एकाधिकार और लोकतांत्रिक ढांचे को नष्ट करने वाले राजनीतिक एकाधिकार को मबजूती प्रदान की गई है, जबकि युवाओं, किसानों तथा मध्य वर्ग को नजरअंदाज कर दिया गया है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने यह भी कहा कि इंडिया गठबंधन सत्ता में आने पर जाति आधारित जनगणना कराएगा और किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी भी देगा। नेता प्रतिपक्ष ने सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधते हुए कहा, हजारों साल पहले कुरुक्षेत्र में अभिमन्यु को चक्रव्यूह में छह लोगों ने फंसा कर मारा था…चक्रव्यूह का दूसरा नाम है- पद्मव्यूह , जो कमल के फूल के आकार का होता है। इसके अंदर डर और हिंसा होती है। उन्होंने दावा किया, अभिमन्यु को चक्रव्यूह में छह लोगों ने मारा था उनके नाम द्रोणाचार्य, कर्ण, अश्वत्थामा, कृपाचार्य, कृतवर्मा और शकुनी हैं। आज भी चक्रव्यूह रचने वाले छह लोग हैं। कांग्रेस नेता ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के अलावा चार और लोगों का नाम लिया, जिस पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने आपत्ति जताई। बिरला ने कहा, आप नेता प्रतिपक्ष हैं…आपकी पार्टी के उप नेता (गौरव गोगोई) ने लिखकर दिया है कि जो सदन का सदस्य नहीं है, उसका नाम नहीं लिया जाना चाहिए। इसके बाद राहुल गांधी ने देश के प्रमुख उद्योगपतियों को ए। और ए 2 कहकर संबोधित किया। राहुल गांधी ने अग्निपथ योजना का उल्लेख करते हुए आरोप लगाया, सेना के जवानों को अग्निपथ के चक्रव्यूह में फंसाया गया। बजट में अग्निवीरों को पेंशन के लिए रुपया नहीं दिया गया। उनके भाषण के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष ने राष्ट्रीय सुरक्षा जैसे संवेदनशील विषय पर बात की है और अग्निवीरों को लेकर भ्रांति फैलाने का काम किया है। उन्होंने दावा किया कि 20 अफसरों ने देश का बजट बनाने का काम किया है, लेकिन इनमें से सिर्फ एक अल्पसंख्यक और एक ओबीसी हैं तथा उनमें दलित एवं आदिवासी एक भी नहीं है। राहुल गांधी ने बजट से पहले की हलवा वाली रस्म का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि इस सरकार में दो-तीन प्रतिशत लोग ही हलवा तैयार कर रहे हैं और उतने ही लोग हलवा खा रहे हैं तथा शेष हिंदुस्तान को यह नहीं मिल रहा है। उन्होंने कहा, वित्त मंत्री जी ने बजट में इंटर्नशिप कार्यक्रम की बात की। यह एक मजाक है, क्योंकि आपने कहा कि इंटर्नशिप कार्यक्रम देश की 500 बड़ी कंपनियों में होगा। 99 प्रतिशत युवाओं का इस कार्यक्रम से कोई लेना-देना नहीं है।