उत्तर प्रदेश के अयोध्या में दलित युवती की हत्या के मामले में पुलिस ने खुलासा किया है। इस मामले में तीन आरोपियों को गिरफ्ताोर कर लिया गया है।अयोध्या के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) राज करण नैय्यर ने इस मामले का खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि 31 जनवरी को पुलिस चौकी में एक शिकायत प्राप्त हुई। वादिनी ने बताया कि वह 30 तारीख को अपनी बहन के साथ सोई थी, लेकिन सुबह उठी तो उसकी बहन नहीं थी। इस मामले में तुरंत मुकदमा पंजीकृत किया गया था। दो टीमों का गठन किया गया था। एक फरवरी को उसका शव बरामद किया गया, जिसकी पहचान उसी लड़की के रूप में की गई है।घटना स्थल को देखकर ऐसा लग रहा था कि घटना को वहां अंजाम नहीं दिया गया था। शव को वहां पर लाकर रखा गया था, ताकि पुलिस को गुमराह किया जा सके। यह हमारे लिए ब्लाइंड केस था। इसके बाद चार टीमों का गठन करके सीसीटीवी फुटेज, तकनीकी सर्विलांस और जो भी हमारे मुखबिर हैं, उनसे जानकारी ली गई। वैज्ञानिक साक्ष्य संकलन फॉरेंसिक टीम द्वारा किए गए थे।इस सब का प्रयोग करते हुए पुलिस ने घटना का सफल आवरण किया है। घटना में संलिप्त तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है, जिसमें हरिराम कोरी, विजय साहू और दिग्विजय सिंह शामिल हैं।