मुंबई। मानहानि मामले में मुंबई की एक मजिस्ट्रेट कोर्ट के सामने शिवसेना (उद्धव गुट) सांसद संजय राउत हुए। इस दौरान उद्धव ठाकरे को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश होने की अनुमति दी गई। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने उद्धव ठाकरे और संजय राउत को 15,000 रुपये की जमानत की अनुमति दी। दोनों ने अदालत में खुद को निर्दोष बताया। अब सुनवाई की अगली तारीख 14 सितंबर तय की गई है। दरअसल, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट के सदस्य और सांसद राहुल शेवाले के खिलाफ पार्टी के मुखपत्र सामना में एक लेख प्रकाशित किया गया था। इसी कथित मानहानिकारक लेखों से जुड़े एक मामले में शिवसेना (यूबीटी) के नेताओं उद्धव ठाकरे और संजय राउत ने सोमवार को निर्दोष बताया। मजिस्ट्रेट की ओर से शिकायत पढ़े जाने के बाद दोनों ने अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों के लिए दोषी नहीं होने की बात कही। बाद में उन्हें 15,000 रुपये की नकद मुचलके पर जमानत दे दी गई।शेवाले के वकील ने कहा कि ठाकरे और राउत को अब मामले में मुकदमे का सामना करना पड़ेगा। शिकायतकर्ता के साक्ष्य दर्ज करने के लिए मामले को 14 सितंबर तक के लिए स्थगित कर दिया गया है। शेवाले ने सामना के मराठी और हिंदी संस्करणों में उनके खिलाफ अपमानजनक लेख प्रकाशित करने के लिए भारतीय दंड संहिता की धारा 500 (मानहानि की सजा) और 501 (मानहानिकारक होने की जानकारी रखते हुए सामग्री को छापना) के तहत उद्धव ठाकरे और संजय राउत के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।वकील चित्रा सालुंके के माध्यम से दायर शिकायत में शेवाले ने 29 दिसंबर, 2022 को प्रकाशित च्राहुल शेवाले का कराची में होटल, रियल एस्टेट व्यवसाय है शीर्षक वाले लेखों पर आपत्ति जताई है। कहा गया है कि लेख एक मनगढ़ंत कहानी, किसी भी सच्चाई से रहित और प्रतिशोध पत्रकारिता का उदाहरण थे।