इजरायल ने नहीं किया अटैक, इस्लामिक जिहाद का रॉकेट हुआ मिसफायर : नेतन्याहू
अमेरिका-ब्रिटेन ने अपने नागरिकों से लेबनान छोड़ने को कहा,पीएम मोदी ने अस्पताल पर हमले को बताया दुखद
तेल अवीव। इजरायल और हमास के बीच चल रही जंग थमने का नाम नहीं ले रही है. इसमें अबतक दोनों ओर के 4500 से ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं. इस बीच मंगलवार देर रात हमास ने दावा किया कि इजरायली सेना ने गाजा के एक अस्पताल पर हमला कर दिया, जिसमें अबतक 500 लोगों की मौत हो चुकी है. वहीं हमास के दावे पर इजरायल के प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने भी जवाब दिया है. इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन ने कहा कि पूरी दुनिया को पता होना चाहिए कि गाजा में जो बर्बर हमला हुआ है, उसे आतंकवादियों ने अंजाम दिया है, न कि इजरायली सेना ने. जिन लोगों ने हमारे बच्चों की बेरहमी से हत्या की, वे अपने बच्चों की भी हत्या करते हैं. इससे पहले आईडीएफ ने जानकारी देते हुए बताया था कि अस्पताल पर हमले के लिए इस्लामिक जिहाद जिम्मेदार है. IDF ने कहा, दुश्मन की ओर से इजरायल पर कई रॉकेट लॉन्च किए गए थे, जिसमें से एक असफल रॉकेट ने गाजा के इस अस्पताल को अपना निशाना बनाया. हमारे पास मौजूद कई खुफिया जानकारी के अनुसार, अस्पताल में हुए इस रॉकेट अटैक के लिए इस्लामिक जिहाद आतंकवादी संगठन जिम्मेदार है. यह हवाई हमला मध्य गाजा के अल अहली अस्पताल पर हुआ है. इसे गाजा पट्टी का आखिरी क्रिश्चियन हॉस्पिटल बताया जा रहा है. गाजा स्वास्थ्य मंत्रालय ने दावा किया था कि मंगलवार रात इजरायली सेना ने अल अहली अरबी बापटिस्ट अस्पताल पर एयर स्ट्राइक की. इस अस्पताल में बड़ी संख्या में घायल और अन्य फिलिस्तीनी शरण लिए हुए थे. अस्पताल पर हुए हमले के बाद UAE और रूस ने इजरायल-फिलिस्तीन संघर्ष को लेकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की इमरजेंसी बैठक बुलाई. सऊदी अरब, यूएई, बहरीन, मिस्र, जॉर्डन और तुर्की ने गाजा के अस्पताल पर हमले के लिए इजरायल पर आरोप लगाया है, जिसमें सैकड़ों फिलिस्तीनी मारे गए हैं. बहरीन ने इस हमले के बाद तत्काल सीजफायर की अपील की है. लेबनान के हिजबुल्लाह ने गाजा पट्टी के अस्पताल में विस्फोट की निंदा करने के लिए ‘क्रोध दिवस’ की अपील की है. हिजबुल्लाह ने इसे नरसंहार बताते हुए इजरायल को दोषी ठहराया है. हिजबुल्लाह ने हमले को “नरसंहार” और “क्रूर अपराध” बताते हुए कहा, “बुधवार, दुश्मन के खिलाफ गुस्से का दिन हो. गाजा पट्टी के अल अहली अरब अस्पताल पर इजरायल के हमले की विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी निंदा की है. विश्व स्वास्थ्य संगठन ने मांग की है कि इजरायली सेना को लोगों को नॉर्थ गाजा खाली करने का आदेश वापस लेना चाहिए. उसे अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून का पालन करना चाहिए. जिसके मुताबिक, अस्पतालों को संरक्षित किया जाना चाहिए और उन्हें टारगेट नहीं करना चाहिए. वहीं, पीएम मोदी ने गाजा के अल अहली अस्पताल पर हुए हमले को लेकर शोक व्यक्त किया है। पीएम मोदी ने एक्स पर पोस्ट किया कि गाजा के अल अहली अस्पताल में लोगों के मारे जाने की दुखद घटना से गहरा सदमा लगा। पीड़ितों के परिवारों के प्रति हमारी हार्दिक संवेदना है, हम घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने के लिए प्रार्थना करते हैं। इजराइल-हमास जंग के 12वें दिन अमेरिका, फ्रांस और ब्रिटेन ने अपने नागरिकों से लेबनान छोड़ने को कहा है।जंग का दायरा बढ़ता देख अमेरिका और ब्रिटेन ने अपने नागरिकों से लेबनान नहीं जाने की भी अपील की है।ब्रिटेन ने अपने नागरिकों से कहा है कि जब तक वहां से फ्लाइट्स उड़ान भर रही हैं, तब तक वहां से निकल जाएं। वहीं, अमेरिका ने भी बेरूत में तैनात डिप्लोमेट्स के परिवारों को लेबनान से निकल जाने के लिए कहा है।
इजरायली राजदूतों को निकाल दें, कारोबार एकदम बंद कर दें मुस्लिम देश : ओआईसी
फिलिस्तीनी आतंकी संगठन हमास और इजरायल की जंग के बीच ईरान ने मुस्लिम देशों के संगठन ओआईसी की बैठक में सभी सदस्य देशों से इजरायल पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगाने की अपील की है। ईरान ने कहा है कि संगठन के सभी सदस्य देश इजरायल के साथ तेल समेत अन्य तरह के सभी कारोबार पर प्रतिबंध लगा दें। साथ ही जिन सदस्य देशों के इजरायल के साथ राजनयिक संबंध हैं, वह इजरायली राजदूतों को बर्खास्त कर दें। दरअसल, मंगलवार को गाजा के एक अस्पताल में ब्लास्ट होने की वजह से बड़ी संख्या में फिलिस्तीनी नागरिकों की मौत हो गई थी। इसी पर चर्चा करने के लिए बुधवार को सऊदी अरब के जेद्दा शहर में ओआईसी की एक आपातकाल बैठक बुलाई गई। इस बैठक में ईरान के विदेश मंत्री हुसैन अमीर अब्दुल्लाहियान शामिल हुए और इजरायल पर बैन लगाने की अपील की। ईरान के विदेश मंत्री ने बैठक में कहा कि सभी मुस्लिम देश इजरायल पर तत्काल प्रभाव से पूर्ण प्रतिबंध लगाने का ऐलान कर दें, जिनमें तेल से लेकर सभी चीजें शामिल हों। साथ ही जिस मुस्लिम देश के इजरायल के साथ राजनयिक संबंध हैं, वह देश तत्काल रूप से अपने यहां इजरायली राजदूतों को बर्खास्त कर दें। वहीं ईरान के विदेश मंत्री हुसैन अमीर अब्दुल्लाहियान ने कहा कि इजरायल की ओर से गाजा में हो रहे संभावित युद्ध अपराधों को दर्ज करने के लिए इस्लामिक वकीलों की एक टीम भी बनाई जानी चाहिए।
हमास ISIS से भी बदतर:अस्पताल पर हमला इजराइल का काम नहीं : बाइडेन
इजराइल-हमास जंग के 12वें दिन अमेरिका के राष्ट्रपति इजराइल पहुंचे। उन्होंने जंग के मुद्दे पर नेतन्याहू से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने कहा- मैं खुद यहां आकर ये दिखाना चाहता था कि हम इजराइल के साथ हैं। हमास ने बेरहमी से इजराइल के लोगों का कत्ल किया है। वो ISIS से भी बदतर हैं। उन्होंने कहा- इजराइल को अपनी रक्षा करने का पूरा हक है। इसमें अमेरिका हर तरह से उनका साथ देगा। हम अपना वादा निभा रहे हैं।अमेरिका ने हमास पर नई पाबंदियों का ऐलान भी किया है। इनका मकसद उस पर आर्थिक दबाव बढ़ाना है। पाबंदियों के दायरे में हमास मेंबर्स और इसके फाइनेंसर आएंगे। बाइडेन एडमिनिस्ट्रेशन का अनुमान है कि हमास ने गैरकानूनी तौर पर करोड़ों डॉलर का इन्वेस्टमेंट कर रखा है।वहीं, नेतन्याहू ने इजराइल पहुंचने के लिए बाइडेन को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा- हमास ने एक दिन में 1400 से ज्यादा इजराइलियों की हत्या की। अभी इजराइल के लिए यही अच्छी बात है कि उनका सबसे सच्चा दोस्त अमेरिका उनके साथ खड़ा है।